Latest
Home / News / हरि ॐ का उच्चारण क्यों ?

हरि ॐ का उच्चारण क्यों ?

वेठ पाठ के आरंभिक मंत्रोच्चारण से पूर्व ‘हरि ॐ’का उच्चारण करना वैदिकों की परंपरागत प्रणाली है,इसका तात्पर्य यह है कि वेद के अशुद्ध उच्चारण में महापातक लगता है और अत्यधिक सावधान रहने पर भी मनुष्य सुलभ स्वर वर्ण वृद्धावास्थाजन्य अशुद्धि हो जाने की पूरी सम्भावना रहती है|

 अतः इस संभावित दोष से निवृति के लिए आदि और अंत में ‘हरि ॐ’शब्द का उच्चारण करना अनिवार्य है|श्रीमदभागवत में लिखा है-

       मन्त्रतस्तन्त्रतशिछंद्र देश्कालार्ह्वस्तुतः |

       सर्वं करोति निश्छिन्द्र नामसंकीर्तन हरेः ||  

अर्थात् मंत्रोच्चारण,तत्तद विधि-विधान,देशकाल और वस्तु की कमी के कारण धर्मानुष्ठान में जो भी कमी हो,’हरि’नाम का संकीर्तन करने से उन सब बाधाओं का शमन हो जाता है|

Check Also

astro welfare

2022 में ऋक् उपाकर्म (श्रावणी पूर्णिमा) शुक्ल-कृष्ण-यजु -उपाकर्म रक्षाबंधन कब और क्यों?

1.ऋक् उपाकर्म (श्रावणी पूर्णिमा) श्री मार्तंड,निर्णयसागर,त्रिकाल,भास्कर आदि पंचान्गानुसारेण| ऋग्वेदियों के इस उपाकर्म (ऋक् उपाकर्म)के तीन …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!