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भारतीय राजनीति के पुरोधा श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी का निधन

हमारे देश के सर्वमान्य नेता और पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी का निधन 16 अगस्त 2018, को 05:05 pm पर हो गया है। भारत रत्न पंडित अटल बिहारी वाजपेयी का जन्म 25 दिसंबर 1924 को ग्वालियर में कृष्ण बिहारी वाजपेयी के घर हुआ । उनकी शुरुआती शिक्षा सरस्वती शिक्षा मंदिर से हुई। उसके बाद विक्टोरिया कॉलेज से अटलजी ने हिंदी, अंग्रेजी और संस्कृत से स्नातक की उपाधि प्राप्त की। अटल बिहारी वाजपेयी ने DAV कॉलेज कानपुर से राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर की उपाधि प्राप्त की। अटल जी ने सक्रिय राजनीति में 1942 में भाग लिया था तब अटल जी ने भारत छोड़ो आंदोलन में भाग लिया तथा 23 दिन के लिए जेल गए।स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात 1957 में ये बलरामपुर से पहली बार सांसद बन के संसद में पहुंचे। वाजपेयी जी को 10 बार लोकसभा के लिए निर्वाचित किया गया था और दो बार राज्य सभा के लिए चुना गया। 2009 स्वास्थ्य संबंधी चिंताओं के कारण सक्रिय राजनीति से निवृत्त होने तक वे लखनऊ, से सांसद थे।वाजपेयी भारतीय जनसंघ के संस्थापक सदस्यों में से एक थे, जिसका उन्होंने नेतृत्व भी किया था.मोरारजी देसाई के मंत्रिमंडल में वह विदेश मंत्री थे।जब जनता पार्टी खत्म हो गई तो वाजपेयी ने 1980 में भारतीय जनता पार्टी के रूप में जनसंघ को फिर से शुरू किया ओर इसके अध्यक्ष भी चुने गए। 1996 में उन्होंने 13 दिन की सरकार बनाई तथा भारत के 10 वें प्रधानमंत्री में रूप में शपथ ली। इसके बाद वो 1998 से 2004 तक प्रधानमंत्री रहे। अटल जी पहले गैर कांग्रेस प्रधानमंत्री थे जिन्होंने अपना 5 साल कार्यकाल पूरा किया था। उनके प्रधानमंत्रित्व काल मे ही पोखरण का नयूक्यिर टेस्ट किया गया था ओर भारत के सेना ने कारगिल युद्ध मे पाकिस्तान को बुरी तरह हराया था। उनके प्रधानमंत्रित्व काल मे भारत मे सफलता की नई ऊंचाई को छुआ था । भारत सरकार ने उनकी उपलब्धियों के लिए उनको 25 दिसंबर 2014 को भारत का सर्वोच्च पुरुस्कार भारत रत्न दे कर सम्मानित किया । ऐसी महान विभूति को हमारी तरफ से कोटि कोटि नमन और अश्रुपूरित श्रद्धाञ्जलि ।।ॐ शान्ति।।

 

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